स्वास्थ्य विभाग के कार्यों की समीक्षा में पाया कि मातृ मृत्यु दर 93 से बढ़कर 103 हो गई है, इसका मेडिकल ऑडिट भी नहीं किया गया है। इस स्थिति पर असंतोष व्यक्त करते हुए सक्रियता बरतने का निर्देश दिया। कहा कि परिवार नियोजन में धीमी प्रगति है। जननी सुरक्षा योजना में लाभार्थियों का भुगतान काफी लंबित है। सिद्धार्थनगर में मात्र 25 प्रतिशत थर्मामीटर की आपूर्ति की गई है।
संत कबीर नगर जिले में पाली, बेलहर, जगदीशपुर सीएचसी निर्माण के लिए धन उपलब्ध होने के बावजूद कार्य पूर्ण नहीं है। नाराजगी व्यक्त करते हुए जिलाधिकारियों को निर्देशित किया कि वे स्वयं इसकी समीक्षा करें। धान खरीद के 48 घंटे भीतर पीसीएफ द्वारा भुगतान न करने पर नाराजगी जताई। आधार सीडिंग का लक्ष्य शत-प्रतिशत पूरा करने का निर्देश दिया। कहा कि बस्ती और संतकबीर नगर में छात्रवृत्ति का डाटा फीडिंग पूरा कराएं।
पंचायती राज विभाग की समीक्षा में पाया कि निर्देश दिए जाने के बावजूद अभिलेखों का सत्यापन नहीं किया गया है। इसके लिए उन्होंने तीनों जिलों के डीपीआरओ का स्पष्टीकरण तलब करने का निर्देश दिया। कहा कि 20 पंचायत भवन निर्माण के लिए अभी स्थल चयन नहीं किया गया है, इसको शीघ्र पूरा कराकर निर्माण कार्य प्रारंभ कराएं। विद्युत विभाग को बड़े बकायेदारों से वसूली में तेजी लाने, औद्योगिक दृष्टिकोण से नियमित विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित किए जाने का निर्देश दिया।
बैठक में जेडीसी पद्मकान्त शुक्ल, डीएम बस्ती प्रियंका निरंजन, सिद्धार्थनगर संजीव रंजन, संतकबीरनगर प्रेम रंजन सिंह, सीडीओ डा. राजेश कुमार प्रजापति, जयेन्द्र कुमार, सुदामा प्रसाद, वन संरक्षक एपी पाठक, संयुक्त कृषि निदेशक अविनाश चन्द्र तिवारी, अधीक्षण अभियन्ता विद्युत सुशील कुमार आर्य और राधेश्याम प्रसाद आदि रहे।
रुधौली बस्ती से अजय पांडे की रिपोर्ट
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